दिल्ली में लगे PM मोदी के विवादित पोस्टर, पुलिस का बड़ा एक्शन, 6 गिरफ्तार, आप का सवाल पोस्टर में विवादित क्या ?
दिल्ली में लगे PM मोदी के विवादित पोस्टर, पुलिस का बड़ा एक्शन, 6 गिरफ्तार, विवादित पोस्टर से क्या है आप का कनेक्शन ?
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का विवादित पोस्टर लगाए जाने को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। दिल्ली पुलिस ने कई पोस्टर जब्त किये हैं और इस मामले में ताबड़तोड़ एक्शन लेना शुरू कर दिया है।
इन विवादित पोस्टरों को दिल्ली में चिपकाने को लेकर आम आदमी पार्टी का नाम भी उछाला जा रहा है। पुलिस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विवादित पोस्टर सार्वजनिक संपत्तियों पर लगाने को लेकर विभिन्न थानों में डिफेसमेंट एक्ट में एफआईआर दर्ज की है।
मोदी सरकार की तानाशाही चरम पर है‼️
इस Poster में ऐसा क्या आपत्तिजनक है जो इसे लगाने पर मोदी जी ने 100 F.I.R. कर दी?
PM Modi, आपको शायद पता नहीं पर भारत एक लोकतांत्रिक देश है।
एक पोस्टर से इतना डर! क्यों? pic.twitter.com/RLseE9Djfq
— AAP (@AamAadmiParty) March 22, 2023
स्पेशल सीपी दीपेंद्र पाठक ने बताया कि दिल्ली पुलिस ने इस मामले में 100 एफआईआर दर्ज की है। पीएम मोदी के विवादित पोस्टर पूरे शहर में लगाने के मामले में अब तक 6 लोगों को गिरफ्तार भी किया जा चुका है। इन पोस्टरों में प्रिंटिग प्रेस का डिटेल नहीं है। इस मामले में प्रिंटिंग प्रेस ऐक्ट के तहत केस दर्ज किया गया है। बताया गया है कि आम आदमी पार्टी के दफ्तर से निकलने के बाद एक वैन को रोका गया। कुछ पोस्टर सीज किये गये और गिरफ्तारी भी हुई है।
इन सभी पोस्टर पर प्रिंटिंग प्रेस का नाम नहीं लिखा था। आईपी इस्टेट थाने में तैनात हेड कॉन्स्टेबव अमिताभ मीणा ने एक शख्स को पोस्टर लगाते हुए पकड़ा था। उसकी पहचान पप्पू कुमार मेहता के तौर पर हुई। उसकी ईको वैन में 38 बंडल पोस्टर भी मिले। चूंकि मामला जमानती था, इसलिए पुलिस ने पप्पू को जमानत दे दी। बहरहाल पुलिस मामले की जांच कर रही है।
वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि पोस्टर लगाने के मामले में प्रमुख राजनीतिक दल के कार्यकर्ता का नाम सामने आया है। 17 मार्च को नारायणा स्थित प्रिटिंग प्रेस को 50 हजार रुपये इन पोस्टर को छापने के लिए दिए गए थे। यह सभी पोस्टर तैयार होने के बाद डीडीयू मार्ग स्थित पार्टी दफ्तर पहुंचे। फिर वहां से 19 मार्च की रात को अलग-अलग लोगों को चिपकाने के लिए दिया गया। यह कार्य 20 मार्च की सुबह तक चलता रहा।