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महाराष्ट्र मामले पर सुप्रीमकोर्ट की कड़ी फटकार मामला अगले चुनाव तक लटकाकर नहीं बैठ सकते अध्यक्ष, 17 तक समय सारिणी बताये,बहुत हो गयी ताल मटोल !

महाराष्ट्र मामले पर सुप्रीमकोर्ट की कड़ी फटकार मामला अगले चुनाव तक लटकाकर नहीं बैठ सकते अध्यक्ष, 17 तक समय सारिणी बताये,बहुत हो गयी ताल मटोल !

महाराष्ट्र मामले पर सुप्रीमकोर्ट की कड़ी फटकार मामला अगले चुनाव तक लटकाकर नहीं बैठ सकते अध्यक्ष, 17 तक समय सारिणी बताये,बहुत हो गयी ताल मटोल !

मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ ने फैसला करने में देरी पर नाखुशी जाहिर करते हुए कहा,“ अयोग्यता की कार्यवाही को दिखावे तक सीमित नहीं किया जा सकता।”

 

पीठ ने कहा, “अध्यक्ष दसवीं अनुसूची के तहत न्यायाधिकरण के रूप में कार्य करता है और वह इस अदालत के अधिकार क्षेत्र में संशोधन योग्य है। उसके समक्ष कार्यवाही को दिखावे तक सीमित नहीं किया जाना चाहिए। हमें विश्वास की भावना पैदा करनी होगी।”

 

शीर्ष अदालत ने कहा कि उसने इस मामले में फैसला करने के लिए 14 जुलाई को नोटिस जारी किया था और 18 सितंबर को इसके बारे में फिर से समय-सारिणी तय करने को कहा था।

पीठ ने मौखिक रूप से कहा, “हम यह कहने के लिए बाध्य हैं कि उन्हें दो महीने के भीतर निर्णय लेना होगा। कोई नहीं कह रहा है कि क्या निर्णय लेना है। विचार यह है कि अगले चुनाव तक इसे यूं ही न चलने दिया जाए और मामले को निरर्थक बना दिया जाए। हम सरकार की हर शाखा का सम्मान करते हैं, लेकिन इस अदालत का आदेश लागू करना होगा।’

पीठ ने मेहता को अयोग्यता याचिकाओं पर निर्णय लेने के लिए मंगलवार को समय-सारिणी के बारे में शीर्ष अदालत को अवगत कराने का निर्देश दिया।

पीठ के समक्ष मेहता ने कहा कि याचिकाकर्ता पक्ष अध्यक्ष के समक्ष एक के बाद एक दस्तावेज दाखिल करता रहा है और वे प्रक्रिया तय नहीं कर सकते। उन्होंने कहा कि अदालत को इस याचिका पर सुनवाई नहीं करनी चाहिए कि संवैधानिक पदाधिकारी (अध्यक्ष) को दिन-प्रतिदिन क्या करना चाहिए।

 

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